भाईदूज के मौके पर जब सागर की केंद्रीय जेल के कैदियों से मिलने उनकी मां और बहनें पहुंचीं, तो हर किसी की आंखें नम हो गईं

भाईदूज के मौके पर जब सागर की केंद्रीय जेल के कैदियों से मिलने उनकी मां और बहनें पहुंचीं, तो हर किसी की आंखें नम हो गईं।
भाईदूज के इस खास मौके पर जेल प्रशासन ने कैदियों को उनके परिजनों से मिलने की अनुमति दी। सुबह से ही गोपालगंज क्षेत्र स्थित केंद्रीय जेल में भावनाओं का माहौल नजर आया। जहां एक ओर सुरक्षा के कड़े इंतजाम थे,
वहीं दूसरी ओर भाई-बहन के प्यार से भरा स्नेहिल दृश्य देखने को मिला। जेल प्रशासन की ओर से नाश्ता, पानी और स्वास्थ्य जांच जैसी व्यवस्थाएं की गईं। सैकड़ों की संख्या में बहनें और माताएं अपने बंदी भाइयों और बेटों से मिलने पहुंचीं। लंबे समय बाद मुलाकात होने पर कई लोग एक-दूसरे को देखकर भावुक हो उठे —
किसी की आंखों में खुशी के आंसू थे, तो किसी के चेहरे पर सुकून का भाव।

भाईदूज का यह दिन उन कैदियों के लिए उम्मीद की किरण लेकर आया, जो दीवारों के पीछे रहकर भी अपने रिश्तों की गर्माहट महसूस करते हैं।

बाइट – मानेंद्र सिंह परिहार, जेल अधीक्षक

बाइट – कैदियों के परिजन और कैदी

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